10वें साल लगातार नहीं बढ़ा मुकेश अंबानी का वेतन

नई दिल्ली। देश के सबसे अमीर उद्योगपति मुकेश अंबानी को उनकी कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज से लगातार 10वें साल 15 करोड़ रुपये वेतन मिला है। अंबानी ने स्वेच्छा से पिछले दस साल से वेतन में कोई वृद्धि नहीं ली है। अंबानी ने 2008-09 से अपना वेतन, अन्य लाभ, भत्ते तथा कमीशन 15 करोड़ रुपये नियत कर रखा है। उससे पहले उनका वेतन सालाना करीब 24 करोड़ रुपये था। वहीं दूसरी ओर 31 मार्च 2018 को समाप्त वित्त वर्ष में उनके रिश्तेदार निखिल और हितल समेत कंपनी के पूर्णकालिक निदेशकों के वेतन में अच्छी-खासी वृद्धि हुई है।  रिलायंस इंडस्ट्रीज ने सालाना रिपोर्ट में कहा कि चेयरमैन और प्रबंध निदेशक मुकेश डी अंबानी का पारितोषिक 15 करोड़ रुपये पर तय है। यह प्रबंधकीय पारितोषिक के मामले में संयम रखने के व्यक्तिगत उदाहरण देने की उनकी इच्छा को प्रतिबिंबित करता है।
 वित्त वर्ष 2017-18 में उनके पारितोषिक 4.49 करोड़ रुपये में वेतन और भत्ता शामिल है। वर्ष 2016-17 में यह राशि 4.16 करोड़ रुपये थी । हालांकि, उनका कमीशन 9.53 करोड़ रुपये पर यथावत रहा है। वहीं अन्य सुविधाओं की मद में दी जाने वाली राशि 60 लाख रुपये से घटकर 27 लाख रुपये रह गई है। सीईओ के वेतन को उपयुक्त स्तर पर रखने को लेकर जारी विवाद के बीच अंबानी ने स्वेच्छा से अक्तूबर 2009 में अपने वेतन पर सीमा लगायी थी। जहां अन्य कार्यकारियों के वेतन में अच्छी-खासी वृद्धि हुई, वहीं अंबानी का वेतन जस-का-तस बना हुआ है। अंबानी के रिश्तेदार निखिल आर मेसवानी तथा हितल आर मेसवानी का पारितोषित 2017-18 में बढ़कर 19.99-19.99 करोड़ रुपये पहुंच गया है जो 2016-17 में 16.85-16.85 करोड़ रुपये था। इससे पहले 2015-16 में निखिल को 14.42 करोड़ और हितल को 14.41 करोड़ रुपये का वेतन मिला था वहीं 2014- 15 में प्रत्येक का वेतन 12.03 करोड़ रुपये था। उनके प्रमुख कार्यकारियों में से एक पीएमएस प्रसाद (कार्यकारी निदेशक) का वेतन 2017-18 में 8.99 करोड़ रुपये रहा जो 2016-17 में 7.87 करोड़ रुपये था।

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