हरियाणा में कानून व्यवस्था

 
नई दिल्ली / टीम डिजिटल। कल सुबह फरीदाबाद के एक जिम के बाहर कांग्रेस के प्रवक्ता विकास चौधरी की दिन दिहाडे गोलियां मार कर हत्या कर दी गयी । इससे हरियाणा की कानून व्यवस्था पर सवाल उठा रहा है विपक्ष । आखिर जब विपक्ष का नेता ही सुरक्षित नहीं तो आम आदमी की क्या सरक्षा और क्या गारंटी ? जबकि भाजपा प्रवक्ता कह रहे हैं कि विकास पर तेरह केस चल रहे थे । क्या सत्ता पक्ष में किसी पर केस लम्बित नहीं हैं ? क्या संसद से लेकर विधानसभा तक भाजपा के सभी नेता दूध के धुले हैं या गंगा में नहाए हुए हैं ? नहीं । हर पार्टी में हर तरह के नेता हैं । कोई पार्टी अछूती नहीं ।
हरियाणा में मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने यह तो कह दिया कि हरियाणा में आपराधिक तत्त्वों के लिए कोई जगह।नहीं । अच्छा होगा कि वे हरियाणा छोड जाएं । लेकिन अपराधी हरियाणा में ही हैं । जहां तक कि जेलों में बंद गैंगस्टर वहीं से अपने निर्देश देते हैं क्योंकि मोबाइल उनके पास हैं । सारी सुविधाएं उपलब्ध हैं । जेल तो सिर्फ एक आड है । इस तरह जेल में गैंग चल रहे हैं और फिरौती मांगी जा रही है । यह किसके बूते हो रहा है ? जाहिर सी बात है कि कहीं न कहीं मिलीभगत है । सरकार चुप क्यों ?
दूसरी ओर वारदात के चार घंटे बाद कल पत्रकारों ने मुख्यमंत्रो खट्टर से सविल पूछा तो वे कतरा गये और बोले कि मेरी जानकारी में नहीं है । बताओ सरकार की इंटेलीजेंस यानी गुप्तचर विभाग सोया हुआ है या मुख्यमंत्री को अप्रिय समाचार देते ही नहीं ? बताइए फिर कौन कदम उठायेगा ? कैसे कानून व्यवस्था को नियंत्रित करेंगे ? अभी किसी ने कहा कि हरियाणा पश्चिमी बंगाल बनने जा रहा है ?
जी नहीं । दुआ कीजिए कि हरियाणा में ऐसे भयंकर हालात न बनें ।

कमलेश भारतीय,
वरिष्ठ पत्रकार

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